मेरी कहानी
कौन थे मुग़लों को धूल चटाने वाले लचित बोरफुकन?
24 November 2022प्रसिद्ध असमिया जनरल और लोक नायक लचित बोरफुकन की 400 वीं जयंती का तीन दिवसीय उत्सव 23 नवंबर को नई दिल्ली में शुरू हुआ। 24 नवंबर को लचित बोरफुकन की जयंती मनाई जाती है। इस समारोह में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सहित कई हस्तियों ने हिस्सा लिया।
अब नहीं फटेंगे गाड़ी के टायर, ये कंपनी लेकर आई है नई तकनीक
05 September 2022हर साल गाड़ी का टायर फटने से हज़ारों लोगों की जान चली जाती है। हाल में बिजनेस टायकून साइरस मिस्त्री की मौत के मामले में भी शुरुआती खबरें टायर फटने से हुए हादसे की ही आ रही थीं। संघ प्रमुख मोहन भागवत और क्रिकेटर सुरेश रैना जैसी कई बड़ी हस्तियों की गाड़ी का टायर फटने की घटनाएं हो चुकी हैं। वे किस्मत वाले थे जो इन हादसों में बच गए लेकिन ऐसे हादसों में जान गंवाने वालों की संख्या भी काफी अधिक है। अभी तक किसी भी बड़ी कंपनी ने इस तरह के टायर नहीं बनाए जो इस तरह के हादसों को रोकने में कारगर हों। लेकिन TycheeJuno ये टेक्नोलॉजी भारत में ले आई है।
कंपनी को ब्रांड बनाती है हाफ सर्कल्स मीडिया
29 August 2022पिछले एक दशक में सोशल मीडिया और डिजिटल मार्केटिंग तेज़ी से आगे पहुंचने वाले वर्टिकल्स में से एक बन गया है। कई लोगों ने, कई कंपनियों ने इस पर काम करना शुरू कर दिया था। सोशल मीडिया और डिजिटल मार्केटिंग की मदद से आजकल लोग अपने बिजनेस को, अपने ब्रांड को ऊंचाइयों पर पहुंचा रहे हैं। और इसमें उनकी मदद कर रहे हैं वो लोग जो इस फील्ड के एक्सपर्ट्स हैं। इन्हीं में से एक है हाफ सर्कल्स मीडिया प्राइवेट लिमिटेड। पिछले कुछ सालों में ही इस कंपनी ने अपने काम से बुलंदियों को छुआ है। इसी का नतीजा है कि हाल ही में हाफ सर्कल्स मीडिया प्रा. लि. के सीईओ निखिल श्रीवास्तव को देश के 50 टॉप लीडर्स की लिस्ट में शामिल किया गया है।
लैब प्रोवाइडर : कम खर्च में क्वालिटी सर्विस का हेल्थटेक स्टार्टअप
04 August 2022डायग्नोसिस, टेस्ट्स और हेल्थ चेकअप कराने में आमतौर पर काफी समय लगता है। ज्यादातर मामलों में आपको अपनी हेल्थ रिपोर्ट लेने के लिए भी काफी चक्कर काटने होते हैं। हालांकि, कई हेल्थटेक स्टार्टअप आ गए हैं जो डायग्नोसिस, टेस्ट्स, हेल्थ चेकअप, डॉक्टर्स से कंसल्टेशन, मेडिसिन और ट्रीटमेंट में काफी मदद कर रहे हैं और इस प्रक्रिया को आसान बना रहे हैं। ऐसा ही एक हेल्थटेक स्टार्टअप है लैब प्रोवाइडर। यह स्टार्टअप डायग्नोस्टिक लैब का एक ऑनलाइन एग्रीगेटर प्लेटफॉर्म है। लैब प्रोवाइडर डायग्नोस्टिक लैब्स और लोगों के बीच एक चेन की तरह काम करता है। आप यहां से अपने टेस्ट्स बुक कर सकते हैं और आपको रिपार्ट ऑनलाइन मिल जाएगी। यही नहीं यहां से आपको डिस्काउंट भी मिलेगा। लैब प्रोवाइडर दावा करता है कि आपको उनके यहां से बेस्ट सर्विस कम कीमत में मिलेगी।
लखनऊ के आंत्रप्रन्योर ने भारत के टॉप 50 लीडर्स लिस्ट में बनाई जगह, प्रतिष्ठित अवार्ड से सम्मानित
18 June 2022लखनऊ के अग्रणी स्टार्टअप हाफ सर्कल्स मीडिया प्रा, लिमिटेड ने देश के 50 टॉप एंटरप्राइज में शीर्ष पर अपनी जगह बनाई है। इसे मार्केटिंग और विज्ञापन के क्षेत्र में वर्ष की सर्वश्रेष्ठ सोशल मीडिया एजेंसी का पुरस्कार मिला है। दिल्ली के प्रतिष्ठित अशोक होटल में आयोजित पुरस्कार समारोह में कंपनी के संस्थापक और सीईओ श्री निखिल श्रीवास्तव को सम्मानित किया गया।
समाज से लड़कर इस पिता ने बिटिया को पढ़ाकर बनाया एसडीएम
03 June 2021आमिर खान की फिल्म दंगल का एक डॉयलॉग बहुत मशहूर हुआ था ‘म्हारी छोरियां छोरों से कम हैं के’। यह महिलाओं को सशक्त बनाने और लैंगिक समानता में एक कदम आगे बढ़ाने की सोच को प्रोत्साहन करता है। दंगल फिल्म साल 2016 में आई थी तब देशभर में यह डॉयलॉग बहुत ही मशहूर हुआ था। इसी फिल्म जैसी कुछ कहानी आज हम आपको एक बेटी और पिता के संघर्ष की बताने जा रहे हैं। यह कहानी कुश्ती की नहीं बल्कि बेटी को पढ़ाने के लिए गांव और समाज से किए गए संघर्ष की है। जिसके पिता ने अपनी बेटी के सपनों को साकार करने के लिए न सिर्फ गांव से शहर पढ़ाई के लिए भेजा बल्कि शहर में सालों तक उसे सपनों को पूरा करने का मौका दिया।
UPPSC: अलका शर्मा के सपनों को बेटी के आने के बाद मिली उड़ान
17 May 2021हर किसी का सपना होता है कि वह उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा को पास करके प्रदेश में अधिकारी बने। अधिकारी बनने की चाहत में हर साल लाखों की संख्या में अभ्यर्थी यूपीपीएससी की तरफ से निकाली जाने वाली यूपीपीसीएस की भर्ती के लिए आवेदन करते हैं। लाखों अभ्यर्थी में से महज चंद सौ अभ्यर्थी ही प्रदेश के अलग-अलग विभागों में अधिकारी का पद पाते हैं। ये वहीं होते हैं जो लाखों अभ्यर्थियों में से कुछ अलग करते हैं, तभी ये परीक्षा पास करते हैं। इन लोगों के पास में होती है बेहतर रणनीति, सही गाइडेंस और टाइमिंग के साथ में पढ़ाई। इसी फॉर्मूले को अपनाते हुए फैजाबाद (अब अयोध्या) की अलका शर्मा ने भी यूपीपीसीएस की परीक्षा को फतेह कर ली है।
दर्जी का बेटा बना एसडीएम, पढ़ाई के लिए मां-बाप ने की थी दिन रात मेहनत
26 April 2021कहते हैं कि अगर चीज को पाने की ठान ली जाए, तो रास्ते में आने वाली सारी बाधाएं दूर हो जाती है। आज की मेरी कहानी में भी कुछ वैसी ही है। आज आपको एक ऐसे सफल व्यक्ति की कहानी पढ़वाने जा रहे हैं, जिनके परिवार ने कभी ऐसा सपना देखा था, जिसे पूरा करना जल्द संभव नहीं था। लेकिन बेटे ने उसे अपनी मेहनत के बदौलत साकार कर दिखाया है। बेटे की कामयाबी कुछ ऐसी है कि अब वह दूसरों के लिए प्रेरणा बने हैं। जिसके मां-बाप सिलाई करके अपने परिवार को चलाते थे, आज उनका ही बेटा एसडीएम बन गया है। यह कामयाबी परिवार के लिए यह किसी अजूबे से कम नहीं है।
UPPSC: छोटी उम्र में किया बड़ा काम, छह महीने में नायब तहसीलदार से लेकर ARTO तक लगाई छलांग
19 April 2021कामयाबी आपकी योग्यता देखती है, उम्र नहीं है। कामयाबी आपको छोटी उम्र में भी मिल सकती है और कभी-कभी उम्र की उस सीमा पर भी जाकर मिलती है, जब आपके पास अंतिम मौका होता है। दरअसल, कामयाबी के पीछे होता है आपका समर्पण, त्याग और बेहतर गाइडेंस। अगर इन सबका अच्छा तालमेल बैठ जाए तो कम उम्र में भी बड़ी कामयाबी पाई जाती है। अगर सही समय और छोटी उम्र में ही कामयाबी मिल जाए, तो फिर अपने लक्ष्य को पाने की तरफ जोश दोगुना बढ़ता है।
UPPCS 2020: शिक्षक से जेल अधीक्षक बनें सचिन, आसान नहीं रहा बचपन में सफर
17 April 2021एक सफलता आपके पीछे के सारे संघर्ष को सामने ला देती है तो वहीं असफलता आपके सारे संघर्ष को छिपा देती है। कई बार असफलता के बाद सफलता मिलती है तो उसका मजा ही कुछ और होता है। आखिरकार हो भी क्यों न, जिसका सपना बचपन से ही देखा जाता है, जिसके पीछे सालों की कड़ी मेहनत होती है, जिसके पीछे परिवार को बड़ी आशा होती है, वह आखिरकार जब पूरा होता है, तो खुशी होती ही है।